बारिश के मौसम में अपने घर की टाइल्स की चमक बरकरार रखने के लिए अपनाएं ये खास टिप्स

मानसून के दौरान टाइल्स की देखभाल में नियमित सफाई, ग्राउट और सीलेंट की रख-रखाव, समय पर मरम्मत, और अच्छी निकासी व्यवस्था शामिल है. इन उपायों और सही सफाई सामग्री के साथ, आप सुनिश्चित कर सकते हैं कि आपकी टाइल्स न केवल सुंदर दिखें बल्कि मानसून के मौसम में भी सही रहें.

बारिश के मौसम में अपने घर की टाइल्स की चमक बरकरार रखने के लिए अपनाएं ये खास टिप्स

मानसून में बढ़ी हुई आर्द्रता और भारी बारिश के कारण, आपके घर की टाइल्स की देखभाल करना उतना ही महत्वपूर्ण हो जाता है. जितना कि उन्हें सही तरीके से चुनना. उचित देखभाल न केवल आपकी दीवारों और फर्श की सुंदरता और मजबूती को बनाए रखती है, बल्कि फफूंदी, दाग और क्षति जैसी सामान्य समस्याओं से भी बचाती है. वर्षा ऋतु के दौरान अपने घर की टाइल्स की सुरक्षा और चमक बरकररार रखने के लिए कुछ खास सुझाव हैं, जो बता रहे हैं श्री संजय शर्मा, प्रेसिडेंट सेल्स, विटेरो टाइल्स, अपर्णा एंटरप्राइज़ेज!

नियमित सफाई-

सर्वप्रथम उपाय मानसून के दौरान टाइल्स पर दाग, गंदगी और नमी अधिक जम जाती है. टाइल्स को नियमित रूप से गर्म पानी में हल्के डिटर्जेंट या फर्श क्लीनर मिलाकर साफ करें। बाहरी या अधिक गंदी सतहों के लिए, सिरका या हल्के ब्लीच के पतले घोल का उपयोग प्रभावी हो सकता है, लेकिन किसी भी अवशेष से बचने के लिए हमेशा अच्छे से पानी से धोएं. जिद्दी दाग के लिए, बेकिंग सोडा और पानी का पेस्ट बनाकर हल्के ब्रश से रगड़ें और साफ पानी से धो लें. टाइल्स की सतह से नमी और गंदगी हटाने के लिए रोज़ाना झाड़ू लगाएं या वैक्यूम करें. सप्ताह में कम से कम एक बार पोछा लगाएं और किसी भी प्रकार के स्पिल को तुरंत साफ करें ताकि दाग न जमें. प्रवेश द्वार पर चटाई या गलीचा रखने से मिट्टी और पानी को टाइल्स तक पहुँचने से रोका जा सकता है.

फफूंदी और गंदगी से निपटना-

मानसून की उच्च आर्द्रता और नमी फफूंदी और काई के पनपने के लिए अनुकूल परिस्तिथि पैदा करती है, खासकर ग्राउट लाइनों और कोनों में इससे निपटने के लिए, एक भाग ब्लीच और दस भाग पानी के घोल से प्रभावित हिस्सों को साफ करें या फफूंदी हटाने के लिए विशेष रूप से निर्मित टाइल क्लीनर का उपयोग करें. बाथरूम और रसोई जैसे क्षेत्रों में वेंटिलेशन बनाए रखें और नमी को नियंत्रित करने के लिए डिह्यूमिडिफायर या एग्जॉस्ट फैन का उपयोग करें.

ग्राउट की देखभाल-

बारिश के मौसम में ग्राउट विशेष रूप से जल रिसाव के कारण जल्दी ख़राब होता है. ग्राउट लाइनों में दरारें, रंग फीका पड़ना या टूट-फूट का समय -समय पर जांच करते रहें. क्षतिग्रस्त ग्राउट को हटाकर नई ग्राउट भरें और सूखने दें. पूरी तरह सूखने के बाद वाटरप्रूफ सीलेंट लगाएं ताकि भविष्य में नमी और दागों से बचाव हो सके. अतिरिक्त सुरक्षा के लिए टाइल्स और ग्राउट को सील करना टाइल्स और ग्राउट लाइनों को सील करना पानी से सुरक्षा, दाग प्रतिरोध और फफूंदी से बचाव के लिए बेहद प्रभावी तरीका है. अपनी टाइल के प्रकार (पोरसिलेन, सिरेमिक या स्टोन) के अनुसार उपयुक्त सीलेंट चुनें और उत्पाद निर्देशों के अनुसार लगाएं. विशेष रूप से बाहरी और नम क्षेत्रों में हर 6–12 महीनों में दोबारा सील करना आवश्यक होता है.

सामान्य समस्याओं से तुरंत निपटना-

अगर ढीली टाइल्स, दरारें या रंग में बदलाव दिखाई दे तो सतर्क रहें. ढीली टाइल्स को धीरे से हटाकर फिर से चिपकाएं और ग्राउट भरें. दरारों या चिप्स के लिए उपयुक्त एपॉक्सी का उपयोग करके सतह को भरें. जो टाइल्स अत्यधिक खराब हो चुकी है उसे तुरंत बदलें ताकि पानी नीचे न जा सके.

पानी से रोकथाम और उचित निकासी-

टाइल्स पर पानी जमा न हो इसके लिए उचित निकासी बेहद ज़रूरी है. इसलिए बाहरी टाइल्स की सतह थोड़ी ढलान वाली होनी चाहिए ताकि पानी बह सके. नालियों और पाइपों को साफ रखें और फ्रेंच ड्रेन जैसे समाधान अपनाएं ताकि पानी घर की नींव और टाइल्स वाली जगहों से दूर जा सके.

सफाई सामग्री और उपकरण- क्या उपयोग करें (और क्या न करें)

• नियमित सफाई के लिए हल्के डिटर्जेंट, टाइल क्लीनर या पतला सिरका घोल का उपयोग करें.
• फफूंदी के लिए ब्लीच घोल या फफूंदी हटाने वाला क्लीनर उपयोग करें.
• तेज़ाब या खुरदरे ब्रश का उपयोग न करें क्योंकि ये टाइल्स और ग्राउट को नुकसान पहुंचा सकते हैं.
• नरम ब्रश या स्पंज का प्रयोग करें और क्लीनर अवशेष हटाने के लिए अच्छी तरह से धोएं.

निवारक उपाय और नियमित जांच-

• प्रवेश द्वारों पर मैट्स रखें ताकि गंदगी और नमी अंदर न आए.
• नियमित झाड़ू और पोछा लगाएं, खासकर अधिक उपयोग वाले क्षेत्रों में.
• पाइप और छत में रिसाव की नियमित जांच करें और आवश्यकता अनुसार ठीक करें.
• पेड़ों की छंटाई करें और नालियों की सफाई करें ताकि मलबा और पानी इकट्ठा न हो.

कब पेशेवर से सलाह लें-

अगर टाइल्स को व्यापक क्षति हुई हो, लगातार फफूंदी बनी हुई हो, या कोई संरचनात्मक समस्या हो, तो पेशेवर की सलाह लेना बेहतर होता है. विशेषज्ञ समस्या का आकलन करके सही समाधान दे सकते हैं और लंबे समय तक सुरक्षा सुनिश्चित कर सकते हैं.

मानसून के दौरान टाइल्स की देखभाल में नियमित सफाई, ग्राउट और सीलेंट की रख-रखाव, समय पर मरम्मत, और अच्छी निकासी व्यवस्था शामिल है. इन उपायों और सही सफाई सामग्री के साथ, आप सुनिश्चित कर सकते हैं कि आपकी टाइल्स न केवल सुंदर दिखें बल्कि मानसून के मौसम में भी सही रहें.